ज्यादातर बैंक दो तरह से होम लोन देते हैं. इसमें पहला निश्चित ब्याज दर और दूसरा फ्लोटिंग ब्याज दर है
फिक्स्ड रेट होम लोन तब चुनना चाहिए कि जब आपको लगता है कि भविष्य में लोन के इंटरेस्ट रेट बढ़ने वाले हैं
लोन लेने से पहले बैंकों की ब्याज दरों की तुलना करके सस्ते लोन के लिए मोलभाव करें
बढ़ती ब्याज दरों के बीच कैसे हल्का करें Home Loan का बोझ, आरबीआई के रेपो रेट में ताबड़तोड़ वृद्धि के बाद होमलोन की ब्याज दरें तेजी से बढ़ रही हैं. महंगे कर्ज की मार से कर्जदार बुरी तरह परेशान है.
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लोग घर खरीदने के लिए बैंकों से होम लोन लेते हैं. यह कोई गलत बात भी नहीं है लेकिन ऐसा करते हुए लोग कई बार गलतियां भी कर देते हैं.
न फिक्स्ड न फ्लोटिंग रेट वाला ब्याज बल्कि इन दिनों बैंक हाइब्रिड होमलोन ऑफर कर रही है. क्या होता है ये और किस तरह के बॉरोअर्स के लिए सही है?
होमलोन के लिए अक्सर लोग ब्याज दरों की तुलना करते हैं. इस दौरान वह बैंक, फाइनेंस कंपनियों की ओर से वसूले जाने वाले हिडन चार्जेज की अनदेखी कर देते हैं.
बैंक होम लोन देते समय आपकी इनकम प्रुफ, क्रेडिट हिस्ट्री, इंटरनल ड्यू डिजिजंस देखकर ही लोन मंजूर करती है.
Home Loan Interest: होमलोन का टेन्योर सिर्फ इस वजह से न बढ़वाएं कि आपकी मंथली ईएमआई कम हो जाएगी. इससे आपको फौरी तौर पर तो राहत मिल सकती है.